देश के अगले राष्ट्रपति चुनाव के लिए हुआ तारीखों का एलान।

देश में जल्द ही शुरू होगी नए राष्ट्रपति को चुनने की प्रक्रिया। आपको बता दें कि तत्कालीन राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद का टर्म आने वाले 24 जुलाई को पूरा हो रहा है। इसके लिए चुनाव आयोग की ओर से जल्द ही अधिसूचना भी जारी किया जाएगा। खबर यह आ रही है कि अगले तीन दिनों के अंदर ही चुनाव आयोग की ओर से इसके लिए अधिसूचना जारी कर दी जाएगी।

वहीं चुनाव आयोग ने राष्ट्रपति चुनाव की तारीखों का एलान भी कर दिया है। चुनाव के लिए होने वाले नामांकन की अंतिम तारीख 29 जून तक है और मतदान 18 जुलाई को होगा तथा चुनाव के नतीजे 21 जुलाई को आएंगे।

अधिसूचना जारी होने के बाद राष्ट्रपति पद के उम्मीदवार अपने-अपने पक्ष में वोट मांगने के लिए प्रत्येक राज्यों का दौरा करना शुरू करते हैं ताकि चुनाव के दौरान ज्यादा से ज्यादा वोट उनके पक्ष में आए। जैसा कि हम सभी जानते हैं,इसमें आम जनता की भागीदरी नहीं होती है, केवल चुने हुए जनप्रतिनिधि ही हिस्सा ले सकते हैं, जिसके कारण इसमें नए-नए समीकरण को बनने के साथ-साथ बिगड़ने की भी पूरी संभावनाएं बनी रहती है।

इससे पहले 17 जुलाई वर्ष 2017 में नए राष्ट्रपति का चुनाव हुआ था। उस वक्त लगभग पचास प्रतिशत वोट बीजेपी के पक्ष में थे और इतना ही नहीं क्षेत्रीय दलों में भी तकरीबन ज्यादातर दलों का समर्थन एनडीए को मिला था। इस बार भी होने वाले राष्ट्रपति चुनाव में ऐसा बताया जा रहा है कि क्षेत्रीय दलों की मदद से एनडीए एक बार फिर से अपने पसंदीदा राष्ट्रपति चुनने के काफी करीब लग रही है। हालांकि इस बात में कितनी सच्चाई है यह कुछ ही दिनों में होने वाले राज्यसभा चुनाव के बाद तस्वीर पूरी साफ हो जाएगी।

आपको बता दें कि राष्ट्रपति चुनाव में देश के सभी निर्वाचित सांसद और विधायक वोट देते है। लोकसभा और राज्यसभा मिलाकर कुल 776 सांसद हैं। वहीं आपको यह भी बता दें कि 708 होती है हर सांसद के वोट की वैल्यू। वहीं देश के सभी राज्यों को मिलाकर कुल विधायकों की संख्या 4120 है और विधायकों के कुल वोट 5,49,474 है। वहीं राष्ट्रपति बनने के लिए कुल 549441 वोट चाहिए होता है।

राष्ट्रपति के चुनाव में सबसे ज्यादा वोट हासिल करने से ही केवल जीत तय नहीं होती। राष्ट्रपति वही बनता है, जो वोटरों यानी सांसदों और विधायकों के वोटों के कुल वेटेज का आधा से ज्यादा हिस्सा हासिल कर लें। इस समय राष्ट्रपति चुनाव के लिए जो इलेक्टोरल कॉलेज है, उसके सदस्यों के वोटों का कुल वेटेज 1098882 है। जबकि जीत के लिए उम्मीदवार को हासिल करने होंगे 549441 वोट।

विधायकों के मामले में सबसे खास बात यह है कि जिस राज्य का विधायक हो, उसकी आबादी देखी जाती है। इसके साथ ही उस प्रदेश के विधानसभा सदस्यों की संख्या को भी मद्देनजर रखा जाता है। वैल्यू निकालने के लिए प्रदेश की जनसंख्या को कुल MLA की संख्या से डिवाइड कर दिया जाता है। इस तरह जो नंबर मिलता है, उसे फिर 1000 से डिवाइड किया जाता है। अंत में जो परिणाम निकलकर आता है वही उस राज्य के एक विधायक के वोट की वैल्यू होती है।




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